कोविड-19 जैसी महामारियों के लिए भारत रहेगा तैयार-अश्विनी चौबे

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संवाददाता.पटना.केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्यमंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के माध्यम से एक्स रे व सिटी स्कैन द्वारा अति सस्ते दर पर सेकंडों में कोरोना जांच करने वाली सॉफ्टवेयर विकसित करने के लिए भागलपुर ट्रीपल आई टी और आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत आर्थिक पैकेज की 5 वीं और आखिरी किस्त का ब्योरा पेश करने पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को बधाई देते  हुए कहा कि भविष्य में भारत कोविड-19 जैसी महामारी के लिए तैयार होगा।

श्री चौबे ने  रविवार को  भागलपुर  ट्रिपल आईटी के  डायरेक्टर  अरविंद चौबे के नेतृत्व में  उनकी टीम और  आर एम आर आई के  निदेशक  पीके दास के टीम से  वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग  के माध्यम से  इस संबंध में सारी जानकारी ली  और उन्हें बधाई दी। इसके उपरांत पत्रकारों से बातचीत के क्रम में केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के विजन के तहत सभी सेक्टरों को मजबूत एवं आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। इससे देश की अर्थव्यवस्था और अधिक मजबूत होगी। रोजगार का सृजन होगा। शिक्षा,स्वास्थ्य, व्यापार, कृषि और अधिक सुदृढ़ होंगे।

श्री चौबे ने कहा कि पब्लिक स्वास्थ्य निवेश बढ़ाया जाएगा। स्वास्थ्य पर सार्वजनिक खर्च बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। यह एक महत्वपूर्ण कदम है। इससे भारत भविष्य में कोविड-19 जैसे महामारियों के लिए तैयार होगा। विशेष पैकेज अंतर्गत सभी जिलों में संक्रमण वाली बीमारियों के लिए अस्पताल खोले जाएंगे। स्वास्थ्य सेवा को सुदृढ़ बनाने के लिए गांव एवं शहर में हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर बनाए जा रहे हैं। इसी और गति मिलेगी। स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक सुदृढ़ बनाने के लिए प्रखंड एवं जिला स्तर पर प्रयोगशाला की व्यवस्था की जाएगी। मेडिकल क्षेत्र में अनुसंधान को प्रोत्साहित किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार हर सेक्टर के लिए फिक्र मंद है। विशेष आर्थिक पैकेज में सभी का ख्याल रखा गया है। अपने गृह राज्यों में लौटने वाले प्रवासियों को रोजगार प्रदान करने के लिए मनरेगा में 40,000 करोड़ रुपये का अतिरिक्त आवंटन हुआ है। इससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई गति व बढ़ावा मिलेगा।

ज्ञातव्य है कि  ट्रिपल आईटी, भागलपुर के इंजीनियर्स टीम के अरविंद चौबे, संदीप राज, गौरव कुमार ने कोरोना वायरस संक्रमण का पता लगाने के लिए एआइ आधारित एक्सरे तकनीक का ईजाद किया है।ट्रिपल आईटी ने यह तरीका छाती के एक्सरे से कोविड-19 जांच के लिए उपयुक्त पाया है। फेफड़ों में कोरोना वायरस के फैलाव को ट्रैक कर प्रभावित हिस्से के अनुपात का निर्धारण कर लेता है।इंजीनियर एक्सरे रिपोर्ट में कोरोना वायरस का पता लगा रहे हैं। इसमें 90 प्रतिशत तक सफलता मिल गयी है। ट्रिपल आईटी इसकी रिपोर्ट मानव संसाधन विकास मंत्रालय को भेज दिया है। वहां से सहमति मिलने के बाद इस पर आगे काम किया जाएगा। ट्रिपल आईटी का दावा है कि आर्टिफिशयल इंटेलीजेंस की मदद से मरीज के एक्सरे रिपोर्ट को देखकर कहा जा सकता है कि वह कोरोना पॉजिटिव है या नहीं।

 

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